संतोष कुमार
रजौली मुख्यालय में रामनवमी को उत्साहपूर्ण मनाए जाने को लेकर मंदिरों में पूजा समितियों द्वारा सारी तैयारियां कर ली गई है.क्षेत्र के सभी बजरंगबली मंदिरों का रंग-रोगन कर फूलों एवं रंग-बिरंगे लाइटों से सजा दिया गया है.वहीं बजरंगबली चौक से लेकर बाईपास,पुरानी बस स्टैंड से लेकर राधाकृष्ण चौक एवं नीचे बाजार से लेकर संगत तक स्थाई एवं फुटपाथी दुकानें महावीरी झंडों व पताकों से पूरा बाजार सज गया है.वहीं घरों में रामनवमी मनाए जाने को लेकर शहरी क्षेत्रों से लेकर ग्रामीण क्षेत्रों के लोग बाजार पहुंच पूजन सामग्री एवं झंडा-पताका की खरीदारी में जुटे हुए हैं.
बजरंगबली चौक पर दुकानदार शालू कुमार ने बताया कि ग्राहकों की मांग पर वे इसबार परंपरागत महावीरी झंडा के अलावे फैंसी झंडा-पताका बिक्री के लिए लाए हैं.साथ ही बताया कि उनके दुकान में 10 रुपए से लेकर अधिकतम 100 रुपए कीमत का झंडा उपलब्ध है.प्रत्येक वर्ष झंडों की बिक्री इतनी अधिक होती है कि रामनवमी शोभायात्रा में शामिल होने वाले रामभक्तों को बाजार में झंडा उपलब्ध नहीं हो पाता है.नीचे बाजार स्थित पंचमुखी बजरंगबली मंदिर के पुजारी श्याम सुंदर पांडे ने बताया कि शनिवार की रात्रि 12 से ही रामनवमी पूजन के लिए बहुत ही शुभ मुहूर्त है,जो रविवार को दिन भर रहेगा.साथ ही बताया कि रामनवमी भगवान श्री विष्णु के सातवें अवतार प्रभु श्री राम के जन्मोत्सव पर मनाया जाने वाला त्यौहार है.वहीं घरों में भगवा पताका लगाने से भूत-पिचाश का साया भी नहीं आता है.पुजारी ने बताया कि पंचमुखी मंदिर में रविवार की संध्या 6 बजे पूजा होना है,जिसमें यजमान के रूप में जीतू सिंह के द्वारा पूजा अर्चना किया जाएगा.बजरंग दल सहसयोंजक संदीप वर्मा ने बताया कि पंचमुखी बजरंगबली में भगवान बजरंगबली का प्रसिद्ध भोजन मोदक का भोग लगाया जाएगा.मंदिर के चारों ओर भगवा पताका से सजाया गया है एवं गाजा-बाजा व लाइट का पर्याप्त प्रबंध किया गया है.
विश्व हिंदू परिषद के उपाध्यक्ष मनीष सिंह ने रजौली की जनता से अपील किया कि आगामी 7 अप्रैल को विश्व हिंदू परिषद बजरंग दल के द्वारा श्री रामनवमी की भव्य शोभायात्रा निकाला जाना सुनिश्चित किया गया है,जिसमें पुरुष श्रद्धालुओं के साथ-साथ भारी संख्या में माताएं-बहनें भी शामिल रहेंगी.यह शोभायात्रा शांतिपूर्ण तरीके से नीचे बाजार स्थित राज शिवालय मंदिर के समीप से निकाली जाएगी,जो पूरे बाजार का भ्रमण करते हुए पुनः राज शिवालय मंदिर के समीप पहुंचेगी.
